नई दिल्ली (एजेंसी)। केंद्रीय शिक्षा मंत्री डा. रमेश पोखरियाल निशंक को शनिवार को वर्चुअल माध्यम से आयोजित समारोह में वातायन लाइफटाइम अचीवमेंट पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
समारोह में नेहरू सेंटर, लंदन के निदेशक और प्रसिद्ध लेखक डॉ. अमीष त्रिपाठी बतौर विशिष्ट अतिथि मौजूद थे। वातायन की अध्यक्ष मीरा कौशिक, केंद्रीय हिंदी परिषद आगरा के उपाध्यक्ष कवि अनिल शर्मा जोशी और वाणी प्रकाशन की कार्यकारी निदेशक अदिति महेश्वरी समारोह में उपस्थित थे।
पुरस्कार प्रदान करने के लिए वातायन ब्रिटेन का आभार व्यक्त करते हुए निशंक ने कहा, विविधता में एकता भारत की पहचान है और हमारी संस्कृति में भाषाओं का विशेष महत्व है। संस्कृति और भाषा एक दूसरे के साथ जुड़े हुए हैं। जैसे-जैसे भाषा मजबूत होती है, वैसे-वैसे ही संस्कृति और सभ्यता को विस्तार मिलता है। इसी तरह, लेखन से देश की सभ्यता और संस्कृति भी मजबूत होती है।
शिक्षा मंत्री ने इस बात पर प्रकाश डाला कि साहित्य हमारी सांस्कृतिक, आध्यात्मिक, शैक्षणिक विरासत है जो देश को अदृश्यरूप से मजबूत करता है। उन्होंने दुनिया में भारतीय ज्ञान परंपरा की मान्यता के लिए प्रत्येक उस व्यक्ति को श्रेय दिया जो साहित्य से जुड़ा है, चाहे वह लेखक, कवि, संगीतकार या चित्रकार है।
डा. निशंक ने कहा कि वातायन सम्मान न केवल उनके लेखन और साहित्य, बल्कि भारतीय मूल्यों और परंपराओं को भी मान्यता प्रदान करता है। उनका लेखन उनके अनुभवों, संघर्षों, जीवन मूल्यों और आदर्श से संबंधित है। उनके लेखन ने हमेशा गरीबों और शोषितों को अभिव्यक्ति प्रदान की है और उनके सभी गीत भारतीय जीवन मूल्यों, भारतीयता और राष्ट्रीयता के लिए समर्पित हैं।