उत्तराखंड विधानसभा सत्र के दूसरे दिन आज धामी सरकार ने विधानसभा के पटल पर वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए बजट रखा। वित्त मंत्री प्रेमचंद्र अग्रवाल ने अब तक का सबसे बड़ा यानी 89 हजार 230 करोड़ रुपए का बजट पेश किया। बजट में जहां इंफ्रास्ट्रक्टर और हाइड्रो पावर परियोजनाओं पर धन वर्षा की गई हैं, वहीं राष्ट्रीय खेलों के आयोजन के लिए भी 250 करोड़ का प्रावधान किया गया है।
वित्तमंमत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने 89 हजार 230 करोड़ का बजट पेश किया। बजट में सरकार को 60,552.90 करोड़ रुपए की राजस्व प्राप्ति और 28,044.21 करोड़ की पूंजीगत प्राप्तियों का अनुमान लगाया गया है। इससे पहले वित्तीय वर्ष 2023-24 में 79 हजार 592 करोड़ का बजट पेश किया गया था। राज्य के सबसे बड़े बजट को पेश करने के लिए नई परंपरा अपनाई गई। अब तक विधानसभा में शाम के समय करीब 4 बजे बजट पेश होता था, लेकिन पहली बार उत्तराखंड का बजट दोपहर 12.30 बजे पेश किया गया।
राष्ट्रीय खेलों के लिए 250 करोड़
बजट में युवाओं पर खास फोकस किया गया है। युवा कल्याण एवं खेलकूद में 2024-25 के लिए कुल 534 करोड़ का प्रावधान किया गया है। इसी के तहत प्रदेश में आयोजित होने वाले 38वें राष्ट्रीय खेलों के आयोजन के लिए 250 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। इसेक अलावा खेल महाकुम्भ आयोजन हेतु लगभग 27.00 करोड़ और ग्रामीण क्षेत्रों में मिनी स्टेडियम के निर्माण के लिए 15.00 करोड़ की धनराशि प्रस्तावित है।
इसके अलावा राष्ट्रीय युवा महोत्सव के लिए 10 करोड़ की धनराशि का प्रावधान है। उदीयमान खिलाड़ियों की छात्रवृत्ति के लिए 10 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। खिलाड़ियों के प्रशिक्षण शिविर के लिए 5 करोड़ की व्यवस्था की गई है। पिथौरागढ़ स्पोर्ट्स कॉलेज भवन के लिए दो करोड़ का बजट रखा गया है। अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में पदक विजेता खिलाडियों को पुरस्कार/आर्थिक सहायता आठ करोड़
सौंग, जमरानी, लखवाड़ परियोजनाओं पर इतना पैसा
मेगा प्रोजेक्ट योजनान्तर्गत वित्तीय वर्ष 2024-25 में 850.00 करोड़ खर्च करने का प्रावधान है।जमरानी बांध परियोजना के लिए वित्तीय 2024-25 में लगभग 710.00 करोड़ तय किए गए हैं। सौंग परियोजना के लिए वित्तीय वर्ष 2024-25 में 300.00 करोड़ रुपए प्रस्तावित हैं। जबकि लखवाड परियोजना के लिए वित्तीय वर्ष 2024-25 में 250.00 करोड़ खर्च करने का प्रावधान रखा गया है।
शहरी इंफ्रास्ट्रक्चर
नगरीय पेयजल और जलोत्सारण योजनाओं के निर्माण के लिए 100 करोड़ का बजट रखा गया है. पेयजल विभाग में केएफडब्ल्यू परियोजना के लिए सौ करोड़ रुपए की व्यवस्था की गई है। अटल नवीनीकरण एवं शहरी परिवर्तन मिशन फेज-2 के लिए भी 100 करोड़ का बजट रखा गया है। मध्यम श्रेणी के नगर निकायों में शहरी अवस्थापना विकास (फेज-2) के लिए 60.00 करोड़ का बजट है। मलिन बस्ती विकास और नगरीय अवस्थापना सुविधाओं के विकास के लिए 50.00 करोड़ की व्यवस्था बजट में की गई है।. ऋषिकेश नगर एकीकृत शहरी अवस्थापना विकास परियोजना के अन्तर्गत 27.00 करोड़ रुपए का बजट रखा गया है। ग्रीन फील्ड और ब्राउन फील्ड सिटी निर्माण के लिए 20.00 करोड़ का बजट है। ग्रीष्मकालीन राजधानी गैरसैंण में अवस्थापना कार्यों के लिए 20.00 करोड़ रुपए का बजट बनाया गया है। प्रदेश में यूनिटी मॉल/प्लाजा निर्माण के लिए 157.00 करोड़ का प्रावधान रखा गया है। प्रशासकीय एवं आवासीय भवनों की रूफ टॉप सोलर योजना के लिए सौ करोड़
निशुल्क गैस रिफिलिंग पर खर्च होंगे 54 करोड़
धामी सरकार ने बजट में गरीबों का भी ध्यान रखा है। 1,83,419 अंत्योदय कार्ड धारकों के निशुल्क गैस रिफिल के लिए साल में तीन सिलिंडर के लिए 54 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। खाद्यान्न योजना के लिए 20 करोड़ का बजट रखा गया है। इसके साथ ही पीएम आवास योजना ग्रामीण के लिए 390 करोड़ का बजट दिया गया है। राज्य आंदोलकारियों के कल्याण और कोर्प्स फंड के लिए 44 करोड़ की व्यवस्था की गई है।
महिलाओं को क्या मिला
बजट में नारी शक्ति और महिला कल्याण के लिए 574 करोड़ का प्रावधान किया गया है। नंदा गौरा योजना के लिए 195.00 करोड़, जबकि मुख्यमंत्री महालक्ष्मी योजना के लिए 30.00 करोड़ रुपए का प्रावधान है। मुख्यमंत्री बाल पोषण योजना के लिए 28 करोड़। मुख्यमंत्री महिला पोषण योजना में 15 करोड़। गंगा गाय महिला डेरी विकास योजना के लिए पांच करोड़। मुख्यमंत्री वात्सल्य योजना के लिए लगभग 21 करोड़ खर्च करने का प्रावधान है।