नई दिल्ली, दुनियाभर में कोरोना वायरस के ओमीक्रोन वेरिएंट से बढ़ी चिंता के बीच भारत में भी इसके मामले सामने आने लगे हैं। भारत में अभी तक ओमीक्रोन के पांच राज्यों में 23 केस आए हैं और इनके तेजी से बढ़ने की संभावना है।बता दें विशेषज्ञ इसके 7 गुना तेजी से फैलने की सम्भावना जाता चुके हैं। कोविड-19 के मैथमेटिकल प्रोजेक्शन में शामिल आईआईटी के वैज्ञानिक मनिंद्र अग्रवाल ने कहा है कि ओमीक्रॉन वैरिएंट के कारण फरवरी तक भारत में तीसरी लहर के पीक पर आने की सम्भावना है। हालांकि उनके मुताबिक, यह ‘दूसरी लहर की तुलना में ज्यादा संक्रामक है लेकिन जैसा डेल्टा वेरिएंट में दिखा था परन्तु उतना मारक नहीं होगा।
भारत में अभी तक पांच राज्यों में 23 केस आए हैं। हालांकि आईआईटी कानपुर के वैज्ञानिक की मानें तो आने वाले समय में ये वेरिएंट देश में कोरोना की तीसरी लहर की वजह भी बन सकता है।
अगर ऐसा होता है तो भारत में एक दिन में एक से डेढ़ लाख तक के कोरोना संक्रमण के केस मिल सकते हैं। विशेषज्ञों के मुताबिक ओमीक़ोन अन्य पहले के वेरिएंट से ज्यादा संक्रामक है। इसमें एक को संक्रमित करने के बाद तीन और लोगों को तेजी से संक्रमित करने की क्षमता है।
आईआईटी वैज्ञानिक मनिंद्र अग्रवाल ने कहा कि संभव है कि तीसरी लहर देश में दूसरी लहर की तरह ज्यादा खतरनाक नहीं हो। मनिंद्र अग्रवाल कोविड-19 के वृद्धि के मैथेमेटिकल प्रोजेकेशन पर नजर रखते हैं। इसी साल मई में जब कोरोना की दूसरी लहर भारत में आई थी तो एक दिन में 4 लाख से अधिक केस भी सामने आए थे।
अग्रवाल ने कहा, ‘नए वेरिएंट के साथ हमारा वर्तमान पूर्वानुमान यह है कि देश फरवरी तक तीसरी लहर देख सकता है। यह दूसरी लहर की तुलना में हल्का होगा। अब तक हमने देखा है कि ओमीक़ोन की गंभीरता डेल्टा वेरिएंट जैसी नहीं है।”
विशेषज्ञ ने यह भी कहा कि दक्षिण अफ्रीका, जहां पहली बार इस वायरस का पता चला था, वहां अब तक अस्पताल में भर्ती होने का एक भी मामला सामने नहीं आया है। अग्रवाल ने कहा, ‘ऐसा लगता है कि नया वेरिएंट ज्यादा संक्रामक है लेकिन जैसा डेल्टा वेरिएंट में देखा गया, उतना खतरनाक नहीं है।’
उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि रात के कर्फ्यू जैसे हल्के लॉकडाउन और भीड़ पर प्रतिबंध आदि इस संक्रमण को काफी हद तक कम कर सकते हैं। बता दें भारत में अभी महाराष्ट्र में ओमीक्रोन के 10 मामले सामने आए हैं। वहीं, राजस्थान में 9, कर्नाटक में दो सहित दिल्ली और गुजरात में एक-एक केस हैं।देश के पांच राज्यों में अभी तक कुल 23 केस आए हैं।