देहरादून, उत्तराखंड विधानसभा चुनाव 2022 के लिए भाजपा ने जहाँ अपने 59 प्रत्याशियों की सूची जारी कर दी है परन्तु कांग्रेस की ओर से अभी तक प्रत्याशियों की कोई लिस्ट जारी नहीं की गई है। भाजपा ने लगभग सभी मुख्य सीटों पर उम्मीदवारों की लिस्ट फाईनल कर दी है, जबकि कांग्रेस में कुछ टिकट फंसे होने के कारण अभी भी मंथन जारी है। इधर पूर्व कैबिनेट मंत्री हरक सिंह को लेकर भी असमंजस की स्तिथि बनी हुई है। अगर पार्टी उन्हें टिकट देती है तो कार्यकर्ताओं के विरोध के साथ ही कई सीटों के सारे समीकरण गड़बड़ाने की आशंका है इसीलिए कांग्रेस अपने कदम फूंक-फूंक रख रही है।
सूत्रों के माने तो धनोल्टी सीट पर प्रीतम सिंह कैंप डॉ वीरेंद्र सिंह को टिकट दिलवाना चाहता है परन्तु हरीश रावत जोत सिंह बिष्ट को चाह रहे हैं। सहसपुर सीट पर रावत कैंप प्रीतम कैंप के आर्येद्र शर्मा के विरोध में हैं और कैंट सीट पर सूर्यकांत धस्माना, लाल चंद शर्मा तथा कई युवा तैयारी कर रहे हैं जिनमे कुछ प्रीतम तो कुछ रावत कैम्प के हैं। उधर मसूरी से भी कुछ दावेदार मैदान में हैं। सूत्रों की माने तो कैंट और मसूरी सीटों को कांग्रेस काफी मुश्किल मान कर चल रही है एक तो कैंट की जो दिवंगत बीजेपी विधायक हरबंस कपूर जो अपनी सीट कभी नहीं हारे की पत्नी साविता कपूर को टिकट मिला है दूसरी बीजेपी विधायक गणेश जोशी की मसूरी सीट। बताया जा रहा है कि कांग्रेस इन सीटों पर युवाओं को टिकट देकर अप्रत्याशित नया प्रयोग कर सकती है।
उधर कुमाऊं की हल्द्वानी सीट पर जहां प्रीतम कैंप शुरू से हरीश रावत की धुरविरोधी पूर्व नेता प्रतिपक्ष इंदिरा ह्दयेश के पुत्र सुमित ह्दयेश के पक्ष में हैं दूसरी ओर रावत कैंप प्रदेश प्रवक्ता दीपक बल्यूटिया की वकालत कर रहे हैं। रामनगर सीट से पूर्व सीएम हरीश रावत लड़ना चाहते हैं जबकि वहां से कभी हरीश रावत के पूर्व करीबी रहे रणजीत सिंह रावत को प्रीतम कैम्प लड़ाना चाहता है। बताया जा रहा है कि रामनगर सीट को लेकर रणजीत के पक्ष में कुछ नेताओं ने दिल्ली जाकर बड़े नेताओं से मुलाकात की है।
यमकेश्वर सीट पर प्रीतम कैंप की रावत कैंप आपस में सहमती नहीं हैं। दूसरी तरफ कम वोट से हारे मनोज तिवारी रावत कैम्प की पसंद नहीं है है। सोमेश्वर सीट पर पिछले चुनाव में महज 700 वोट से चूक गए राजेंद्र बाराकोटी की जगह हरीश रावत के ख़ास सांसद प्रदीप टम्टा का नाम लिस्ट में प्रीतम कैंप को रास नहीं आ रहा है। 21 जनवरी से नामांकन शुरू होने है अब कांग्रेस को प्रत्याशियों की लिस्ट जल्दी जारी की पड़ेगी अन्यथा वो चुनाव प्रचार में पिछड़ सकते हैं.