मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने आईटीबीपी कैम्प कोपांग उत्तरकाशी में आईटीबीपी के जवानों एवं हर्षिल उत्तरकाशी में 9वीं बटालियन बिहार रेजिमेंट के सेना के जवानों के साथ दीपावली मनाई। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने जवानों का हौंसला बढ़ाया एवं जवानों व उनके परिवारजनों को दीपावली की शुभकामनाएं दी। जवानों ने मुख्यमंत्री को अपने बीच पाकर प्रसन्नता व्यक्त की और कहा कि इससे कार्य करने का जज्बा और होंसला बढ़ता है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सेना और अर्द्ध सैनिक बलों के जवान सीमान्त एवं दुर्गम क्षेत्रों में देश की रक्षा के लिए कठिन परिस्थितियों में कार्य करते हैं। इन सैनिकों की वजह से पूरा देश चैन की नींद सोता है। हमारे जवान अपने परिवारों से दूर रहकर देश की रक्षा के लिए जिस वीरता एवं साहस से अपने कर्तव्यों का निर्वहन करते है। इसके लिए वे निश्चित रूप से बधाई के पात्र हैं और कहा कि आज सेना एवं आईटीबीपी के जवानों के साथ मुझे कुछ समय बिताने का मौका मिला, यह मेरे लिए सौभाग्य की बात है। उत्तराखण्ड का सेना एवं अर्द्धसैन्य बलों से गहरा नाता रहा है। उत्तराखण्ड के अनेक जवान इन सैन्य बलों में सेवाएं दे चुके हैं एवं दे रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि मेरे पिताजी भी सेना में रहे हैं, एक सैनिक परिवार से होने के नाते मेरा सैनिकों से व्यक्तिगत लगाव भी है। सेना एवं अर्द्ध सैन्यबलों के प्रति देश का सम्मान, श्रद्धा एवं विश्वास का भाव रहता है। हमारे सैन्य बल दुनिया के सर्वोत्कृष्ट सैन्य बल माना जाता है। मुख्यमंत्री ने कहा कि इतने दुर्गम एवं सीमान्त क्षेत्रों में महिला अधिकारी जिस जज्बे के साथ ड्यूटी कर रहे हैं, यह सबके लिए अनुकरणीय है। मुख्यमंत्री रावत ने कहा कि राज्य के आई.ए.एस., आई.एफ.एस. एवं आई.पी.एस. अधिकारियों की कैम्पिंग हम सीमांत क्षेत्रों में हर साल करेंगे।
इस अवसर पर विधायक गोपाल सिंह रावत, मुख्यमंत्री के औद्योगिक सलाहकार डॉ. के.एस.पंवार, विशेष सचिव पराग मधुकर धकाते, जिलाधिकारी उत्तरकाशी मयूर दीक्षित, पुलिस अधीक्षक पंकज भट्ट, सेना एवं आईटीबीपी के जवान उपस्थित थे।