- देश के 56 छावनी परिषदों का 6 वर्षीय कार्यकाल इसी माह के 10 तारीख को पूरा हो चुका है
- रक्षा मंत्रालय नयी दिल्ली के द्वारा समस्त 56 छावनी परिषदों को तत्काल प्रभाव से भंग भी कर दिया गया है
देहरादून 15 फरवरी, भारत सरकार के रक्षा मंत्रालय के द्वारा देश के 56 छावनी परिषदों को अप्रैल माह के अंत तक हर हाल में नवीनतम मतदाता सूची तैयार करने के निर्देश दे दिए गए हैं। ज्ञात हो कि देश के 56 छावनी परिषदों का 6 वर्षीय कार्यकाल इसी माह के 10 तारीख को पूरा हो चुका है। कार्यकाल पूरा होने के बाद रक्षा मंत्रालय नयी दिल्ली के द्वारा समस्त 56 छावनी परिषदों को तत्काल प्रभाव से भंग भी कर दिया गया है जिसके राज पत्र की कॉपी भी समस्त छावनी परिषदों को भेज दिया गया है। इसके बाद ऐसा प्रतीत हो रहा था कि शायद रक्षा मंत्रालय उक्त समस्त छावनी परिषदों में चुनाव कराने के पक्ष में नहीं है वह नए संशोधित अधिनियम 2020 के प्रभावी होने के बाद ही चुनाव करवाएगा। सूत्रों के हवाले से यह पता चला है कि आगामी छावनी परिषदों के चुनाव तक मंत्रालय समस्त भंग किए गए छावनीयों में एक सदस्य नामित करने के पक्ष में है परंतु वर्तमान महानिदेशक रक्षा सम्पदा, रक्षा मंत्रालय दीपा बाजवा जिनके अधीन देश के समस्त 62 छावनी परिषद आते हैं इसी वर्ष जून में सेवानिवृत्त होने से पहले 62 में से इन् 56 छावनी परिषदों में चुनाव कराने के पक्ष में है जो भंग कर दिए गए हैं, उन्होंने रक्षा मंत्रालय को भी अपनी रिपोर्ट भेजी है कि लोकतंत्र में भंग बोर्डो में चुनी हुई सरकार ही कार्य करें जिसमें उनके प्रतिनिधियों के पास अधिकार भी पूर्ण रूप से हो। इसी क्रम में महानिदेशक रक्षा सम्पदा, महोदय ने देश के 56 छावनी परिषदों को तत्काल नवीनतम मतदाता सूची तैयार करने के आदेश पारित कर दिए गए हैं इससे ऐसा प्रतीत होता है कि शायद वर्तमान में प्रभावी पुराने केंट एक्ट 2006 के तहत ही कैंट बोर्ड के चुनाव हो सकते हैं। अब इस विषय पर अंतिम निर्णय रक्षा मंत्रालय, नई दिल्ली के द्वारा लिया जाना है कि किस प्रकार भंग किए गए 56 छावनियों को चलाया जाना है चुनाव तुरंत कैंट एक्ट 2006 के अनुरूप करवाये जाए या फिर भविष्य में प्रभावी होने वाले 2020 एक्ट के अनुसार ही करवाये जाए। फिलहाल छावनियों में नयी मतदाता सूची तैयार करने के आदेश मिलने की जानकारी प्राप्त होते ही चुनाव लड़ने वाले प्रत्याशियों ने फिर अपने-अपने वार्ड क्षेत्रों में गतिविधियां तेज कर दी है। लगभग 28,000 मतदाता वाले कैंट बोर्ड कलेमेनटाउन के निवर्तमान उपाध्यक्ष भूपेंद्र सिंह कंडारी ने अपनी राय जाहिर करते हुए कहा कि समस्त 56 भंग हुए छावनी परिषदों के आगामी चुनाव नए संशोधित अधिनियम 2020 के अनुरूप ही करवाये जाने चाहिए इससे लोकतांत्रिक व्यवस्था भी मजबूत होगी।
भूपेंद्र सिंह कंडारी निवर्तमान उपाध्यक्ष
