देहरादून/ऋषिकेश, टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड, एक प्रमुख केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र उपक्रम (सीपीएसयू) है। टीएचडीआईएल ने भारत के पहले वेरिएबल स्पीड पंप स्टोरेज प्लांट (पीएसपी) की प्रथम यूनिट (250 मेगावाट) के राष्ट्रीय ग्रिड के साथ सफल सिंक्रोनाइजेशन के साथ एक ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल की है। यह सिंक्रोनाइजेशन अपराह्न 5:50 बजे हुआ, जो भारत के अक्षय ऊर्जा बुनियादी ढांचे के विकास में एक महत्वपूर्ण कदम है। इस महत्वपूर्ण अवसर पर टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक आरके विश्नोई की गरिमामयी उपस्थिति रही। पंकज अग्रवाल, सचिव (विद्युत), भारत सरकार एवं गुरदीप सिंह, अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक, एनटीपीसी भी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से इस महत्वपूर्ण उपलब्धि के अवसर पर उपस्थित रहे। इस अवसर को और भी महत्वपूर्ण बनाते हुए, विद्युत मंत्रालय, भारत सरकार के सचिव, पंकज अग्रवाल ने वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से पीएसपी टीम को उनके अथक समर्पण के लिए बधाई दी। उन्होंने इस महत्वपूर्ण उपलब्धि को हासिल करने के लिए टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड की भी सराहना की। श्री विश्नोई ने पीएसपी की टीम को उनकी असाधारण उपलब्धि के लिए हार्दिक बधाई दी, साथ ही इस उपलब्धि की राष्ट्रीय ग्रिड की क्षमता को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित किया। उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि यह किसी भी सीपीएसई द्वारा विकसित भारत के सबसे बड़े पंप स्टोरेज प्लांट के चालू होने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, जो भारत के सबसे बड़े हाइड्रो पावर कॉम्प्लेक्स, टिहरी हाइड्रो पावर कॉम्प्लेक्स को 2,400 मेगावाट की कुल संस्थापित क्षमता के साथ पूर्ण प्रचालन के नजदीक ला रहा है। विश्नोई ने कहा, “यह उपलब्धि भारत के नवीकरणीय ऊर्जा बुनियादी ढांचे को सुदृढ बनाने में सहयोग करने की हमारी प्रतिबद्धता का प्रमाण है। यह टिहरी हाइड्रो पावर कॉम्प्लेक्स को एक सतत और लचीले ऊर्जा भविष्य की ओर देश के परिवर्तनकाल में एक प्रमुख योगदानकर्ता के रूप में स्थापित करता है।” एनटीपीसी के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक गुरदीप सिंह ने वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से इस उल्लेखनीय उपलब्धि को हासिल करने में पूरी पीएसपी टीम की उसके अटूट समर्पण के लिए सराहना की। उन्होंने इस बात पर बल देते हुए कहा कि टिहरी पीएसपी की सफल कमीशनिंग एक महत्वपूर्ण मिसाल कायम करेगी, जिससे अन्य पीएसयू के लिए पंप स्टोरेज परियोजनाओं में उद्यम करने का मार्ग प्रशस्त होगा, जो ग्रिड स्थिरता को बढ़ाने और नवीकरणीय ऊर्जा एकीकरण की बढ़ती मांग को पूरा करने के लिए महत्वपूर्ण हैं। श्री सिंह ने अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक, टीएचडीसीआईएल को बधाई दी और इस अभूतपूर्व उपलब्धि को हासिल करने में टीएचडीसीआईएल के अटूट समर्पण और प्रतिबद्धता की सराहना की। उनके शब्दों ने इस उपलब्धि के राष्ट्रीय महत्व को और रेखांकित किया साथ ही देश भर में उन्नत जलविद्युत और भंडारण समाधानों में भविष्य के प्रयासों को प्रेरित करने की इसकी क्षमता पर भी प्रकाश डाला। निदेशक (कार्मिक) शैलेन्द्र सिंह ने इस महत्वपूर्ण उपलब्धि को हासिल करने पर हार्दिक बधाई दी और इस बात पर जोर दिया कि यह उपलब्धि पीएसपी में टीएचडीसीआईएल की उपस्थिति का विस्तार करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, जिससे भारत की ऊर्जा आत्मनिर्भरता और ग्रिड स्थिरता में योगदान मिलेगा। उन्होंने यह भी कहा कि यह उपलब्धि परियोजना में शामिल प्रत्येक व्यक्ति के समर्पण, कड़ी मेहनत और दृढ़ता का प्रमाण है। इस अवसर पर निदेशक (तकनीकी) भूपेंद्र गुप्ता ने टिहरी पीएसपी टीम द्वारा किए गए अथक प्रयासों की सराहना की और सिंक्रोनाइजेशन प्रक्रिया के दौरान आने वाली तकनीकी चुनौतियों तथा उन पर विजय हासिल करने पर जोर दिया। भूपेंद्र गुप्ता ने आगे कहा कि पहली इकाई का सफल सिंक्रोनाइजेशन टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड की टिहरी हाइड्रो पावर कॉम्प्लेक्स की पूरी क्षमता को साकार करने की यात्रा में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है. निदेशक (वित्त) सिपन कुमार गर्ग ने पूरी पीएसपी टीम को बधाई देते हुए टिहरी पंप स्टोरेज प्लांट के विकास में सहायक रणनीतिक वित्तीय नियोजन और निवेश पर प्रकाश डाला। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि यह उपलब्धि न केवल एक तकनीकी उपलब्धि है, बल्कि एक महत्वपूर्ण वित्तीय उपलब्धि भी है, क्योंकि यह परियोजना की वित्तीय स्थिरता और दीर्घकालिक व्यवहार्यता सुनिश्चित करने के लिए टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड की सुदृढ प्रतिबद्धता को प्रदर्शित करती है। कार्यपालक निदेशक (टिहरी कॉम्प्लेक्स) एलपी जोशी ने टिहरी पीएसपी टीम, कंसोर्टियम भागीदारों (मेसर्स जीईपीआईएल एवं मेसर्स एचसीसी) साथ ही अन्य हितधारकों की अटूट प्रतिबद्धता की सराहना की। उन्होंने इस ऐतिहासिक उपलब्धि में परिणत होने वाले सहयोगी प्रयासों पर जोर दिया। एलपी जोशी ने यह भी कहा कि ग्रिड के साथ पहली इकाई का सफल सिंक्रोनाइजेशन केवल शुरुआत है, और अब यूनिट के शीघ्र वाणिज्यिक प्रचालन को सुनिश्चित करने पर ध्यान केंद्रित करना होगा। इस अवसर पर मुख्य महाप्रबंधक (सिविल-पीएसपी) अनूप गैरोला, महाप्रबंधक (मानव संसाधन-प्रशासन, सीसी) डॉ एएन त्रिपाठी और टीएचडीसीआईएल, कंसोर्टियम भागीदारों और टीएचडीसीआईएल के सलाहकार मेसर्स ट्रैक्टबेल के अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।