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Sunday, July 6, 2025

उत्तराखंड पुलिस, प्रधानमंत्री के स्मार्ट पुलिस बनाने की दिशा के ओर अग्रसर: डीजीपी अशोक कुमार

  • उत्तराखंड पुलिस प्रधानमंत्री के स्मार्ट पुलिस विजन के मूल मंत्र के साथ कार्य कर रही है और पुलिस को स्मार्ट बनाने की दिशा में अग्रसर 
  • SMART (S- Sensitive, Strict+ M-Modern with Mobility+ A- Alert & Accountable+ R- Reliable & Responsive+ T- Trained & Techno-Savvy Police)
  • स्मार्ट पुलिस विजन जिसमें सख्त एवं संवेदनशील (SMART S- Sensitive & Strict), आधुनिक एवं सचल (M-Modern with Mobility) सतर्क एवं जवाबदेह (A- Alert & Accountable), विश्वसनीय एवं प्रतिक्रियाशील (R- Reliable & Responsive) के साथ ही तकनीकी रूप से कुशल एवं दक्ष (T- Trained & Techno-Savvy Police) की दिशा में अग्रसर

देहरादून, उत्तराखंड पुलिस प्रधानमंत्री के स्मार्ट पुलिस विजन जिसमें सख्त एवं संवेदनशील (SMART S- Sensitive & Strict), आधुनिक एवं सचल (M-Modern with Mobility) सतर्क एवं जवाबदेह (A- Alert & Accountable), विश्वसनीय एवं प्रतिक्रियाशील (R- Reliable & Responsive) के साथ ही तकनीकी रूप से कुशल एवं दक्ष (T- Trained & Techno-Savvy Police) के मूल मंत्र के साथ कार्य कर रही है। उत्तराखंड पुलिस को स्मार्ट बनाने की दिशा में अग्रसर रहने हुए अशोक कुमार पुलिस महानिदेशक, उत्तराखण्ड द्वारा निरंतर प्रयास किये जा रहे हैं।

इसी क्रम में आज बुद्धवार 21 सितंबर 2022 को पुलिस मुख्यालय, उत्तराखण्ड में आयोजित बैठक में राधा रतूड़ी अपर मुख्य सचिव गृह, उत्तराखण्ड शासन के समक्ष उत्तराखंड पुलिस से सबंधित वर्तमान एवं भविष्य की योजनाएं रखी गयी। पुलिस उप महानिरीक्षक, पी/एम- सेंथिल अबुदेई कृष्ण राज एस ने प्रस्तुतिकरण के माध्यम से पुलिस के शासन स्तर के मुद्दों से उनको अवगत कराया।

बैठक में निम्न बिन्दुओं पर विचार विमर्श किया गया।

1. राज्य में एसडीआरएफ की एक ही वाहिनी स्थापित है। इसमें एक और कंपनी बढ़ाने का प्रयास किया जाए।
2. बच्चों की भिक्षा मांगने की प्रवृत्ति को रोकने के लिए चलाए गए ऑपरेशन मुक्ति में अन्य विभागों एवं स्वैच्छिक संगठनों का सहयोग लिया जाए।
3. ड्रग्स के मामले में पकड़े गए लोगों को रिहैब सेंटर में भेजा जा सकता है। इसके लिए स्वैच्छिक संगठनों का सहयोग लिया जाए।
4. महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराधों की महिला हेल्पलाइन से सही काउंसलिंग कराई जाए, जिससे महिलाओं को सहायता प्राप्त हो सके।
5. प्रांतीय पुलिस सेवा संवर्ग का शीघ्र पुनर्निर्धारण किया जाएगा।
6. विभिन्न पुलिस इकाइयों में अलग से जन शक्ति स्वीकृत नहीं है, इसमें एटीएस- 138, एएनटीएफ- 32, पंतनगर एयरपोर्ट- 36, एएचटीयू- 191, गोवंश संरक्षण स्क्वाड- 36 पदों की स्वीकृती हेतु प्रयास किया जाएगा।
7. चतुर्थ श्रेणी के पदों को आरक्षी ट्रेडमेन से पद नामित किये जाने हेतु प्रयास किया जाएगा।
8. पीएसी वाहनों हेतु एक मुश्त बजट शासन स्तर से स्वीकृत करने का प्रयास किया जाएगा।
9. वर्दी विनियम, खेलकूद निधि, सामग्री सम्पूर्ति में शासन स्तर से बजट शीघ्र निर्गत किया जाएगा।
10. पैरोल के मामले में पुलिस अधीक्षकों को सही रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए हैं, जिससे ज्यादा कैदियों को पैरोल पर रिहा किया जा सके जिससे जेलों का भार कम हो।
11. काउंटर एफिडेविट फाइल करने की प्रक्रिया को ऑनलाइन किया जाएगा।
12. ट्रायल ऑनलाइन करने हेतु भी कानून में संशोधन हेतु प्रयास किया जाएगा।

अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने कहा कि हम सभी एक टीम के रूप में कार्य करने का संकल्प करना है। प्रत्येक पुलिसकर्मी रात दिन मिशन मोड पर जनता की मदद एवं सहयोग करने का प्रयास करता है। उन्होंने आम जनता से पुलिस विभाग के द्वारा बनाई गई उत्तराखंड पुलिस एप व अन्य स्मार्ट पुलिस टूल्स का उपयोग करने की अपील की है।

बैठक में उत्तराखण्ड शासन से अपर सचिव गृह- अतर सिंह, सहित अपर पुलिस महानिदेशक, पीएसी/सीआईडी- पीवीके प्रसाद, अपर पुलिस महानिदेशक, पुलिस दूरसंचार- अमित सिन्हा, अपर पुलिस महानिदेशक, अपराध एवं कानून व्यवस्था- वी मुरूगेशन, पुलिस महानिरीक्षक, अभिसूचना एवं सुरक्षा- ए पी अंशुमान, पुलिस महानिरीक्षक, प्रशिक्षण- पूरन सिंह रावत, पुलिस महानिरीक्षक, एससीआरबी/महा समादेष्टा होमगार्ड व सिविल डिफेंस, पुलिस महानिरीक्षक सीआईडी विमला गुंज्याल सहित सहित अन्य पुलिस अधिकारी उपस्थित रहे।

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